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ब्रोक्कोली की उन्नत खेती से कमाएं अधिक लाभ भारत में हरे रंग के शीर्ष वाली ब्रोकली सबसे अधिक लोकप्रिय है उसके बाद बैंगनी रंग की किस्मों का स्थान आता है। भारत में  तैयार की गई ब्रोकली की उन्नत किस्में नीचे सारणी में दी गई है। सारणी में दी गई किस्मों के अलावा विभिन्न प्रकार की संकर और सामान्य किस्में भी बाजार में मिलती है।   उपयुक्त जलवायु और भूमि ब्रोकली की खेती के लिए हल्की ठंडी जलवायु की आवश्यकता होती है। अधिक ठंड में पाले की समस्या होती है परतुं सामान्यत: ठंडे मौषम में इसके फूल (हैड) अधिक संगठित और ठोस बनते है साथ ही हैड की कलिकाएं भी बारीक होती है जो अधिक बाजार...

मशरूम की खेती: अतिरिक्त आय का साधन मशरुम एक प्रोटीनयुक्त खाद्य फसल है। इसमें शुष्क भार के आधार पर 28 से 30 प्रतिशत तक उच्च श्रेणी का प्रोटीन होता है। मशरुम खाने से प्रोटीन की कमी से होने वाले रोगों का बचाव होता है। प्रोटीन के अतिरिक्त इसमें विटामिन-सी एवं विटामिन-बी काॅम्प्लेक्स ग्रुप में थाइमिन, राइबोफ्लेविन, नियासिन, फोलिक एसिड़ तथा कोबालएमिन (बी- 12) है जो कि गर्भवती महिलाओं व बच्चों के लिये आवश्यक है। इसमें लवण जैसे सोडियम, पोटेशियम, फाॅस्फोरस व लोहा प्रचुर मात्रा में होते हैं। मशरुम खाने से खुन की कमी के ‘एनिमिक’ रोगियों को लाभ होता है। सोडियम तथा पोटेशियम का अनुपात अधिक होने के कारण यह उच्च रक्तचाप...

Organic manure and its benefits to agriculture जैविक खाद का अभिप्राय उन सभी कार्बनिक पदार्थों से है जो कि सड़ने या गलने पर जीवांश पदार्थ या कार्बनिक पदार्थ पैदा करती है। इसे हम कम्पोस्ट खाद भी कहते हैं। इनमें मुख्यतः वनस्पति सामग्री और पशुओं का विछावन, गोबर एवं मल मूत्र होता है। इसलिए इनमें वे सभी पोषक तत्व उपस्थित रहते हैं जो की पौधों के वृद्धि के लिए आवश्यक होते हैं। जैविक खाद फसल के लिए बहुत ही उत्तम खाद मानी जाती है। जैविक खाद या कम्पोस्ट खाद को मुखयतः तीन भागों में विभाजित किया जा सकता है : फास्को कम्पोस्ट इनरिच्ड कम्पोस्ट एवं वर्मी कम्पोस्ट फास्को कम्पोस्ट इस खाद में फास्फोरस (स्फुर) की मात्रा अन्य कम्पोस्ट खादों...

कृषि में कृत्रिम बुद्धिमत्ता Global population by 2050 is expected to reach more than nine billion. Raise in population may create a huge food demand and to fulfil the food security which will require an increase in agricultural production by 70%. So we have to get more produce from limited land and also by reducing the cost of cultivation. New technologies will be needed to ease the workload on farmers. Field operations will be remotely controlled and automated risk will be identified throughout the crop cycle. This machine learning also develops farmers’ friendly apps to ease the workload of farmers and to improve a wide range of agriculture related risk. The raise in...

बाजरेे का संकर बीज उत्पादन Pearl millet is a highly cross-pollinated crop due to its protogyny condition of flower. In this condition stigma of the flower emerges first and mature before pollen shedding this condition of flower promote cross pollination. This nature of flowering facilitates the breeding of hybrids and open-pollinated varieties (OPVs). For hybrid seed production two methods are used first parental line growing in crossing block and harvest seed. The resultant seed contained approximately 40% hybrid seed when the two parental lines had synchronous flowering. This is called chance hybrid. In second method cytoplasmic-nuclear male-sterility lines like male-sterile lines Tift 23A and Tift 18A are used. These lines shows short stature, profuse...

Role of agricultural research and development in Indian economy भारत प्राचीनकाल से ही एक कृषि -प्रधान देश रहा है। वर्तमान में भी भारतीय अर्थव्यवस्था का एक बड़ा हिस्सा कृषि से प्राप्त होता है। देश के कुल जीडीपी का लगभग १४ % भाग कृषि से मिलता है जबकि भारत की कुल जनसँख्या का लगभग ५८% कृषि कार्यों में संलग्न है। अर्थात यहाँ पर यह कहना अनुचित नहीं होगा की संभवतया भारतीय अर्थव्यवस्था की मंद गति का एक बड़ा कारण कृषि क्षेत्र में व्याप्त यह असंतुलन भी है। जनसँख्या में हो रही निरंतर वृद्धि और साथ ही कृषि योग्य भूमि के क्षेत्रफल में लगातार कमी की स्थिति चिंता का विषय है। ऐसे में प्रति...

गुलदाउदी की उन्नत खेती गुलदाउदी शर्दियो में उगाए जाने वाले फूलो में महत्वपूर्ण स्थान रखता है, एवं गुलदाउदी शर्दियो में उगाया जाने वाला एक लोकप्रिय पुष्प है, इस लिए गुलदाउदी को शर्दी के मौसम की रानी, सेवन्ति तथा चंद्रमल्लिका के नाम से भी जाना जाता है | गुलदाउदी के फूलो के रंग, आकार तथा बनावट में अन्य फूलो की तुलना में बहुत अधिक विभिन्नता होती है, लेकिन गुलदाउदी के पुष्प सुगन्धित नहीं होते है | गुलदाउदी में फूलने का समय बहुत कम होता है, लेकिन गुलाब के बाद दूसरा सबसे लोकप्रिय पुष्प है | गुलदाउदी की खेती मुख्य रूप से लूज तथा कट फूलो के लिए की जाती है | गुलदाउदी के फूलो...

Leaf curl disease in chilli and its control पर्ण कुंचन या मुरड़ा, मिर्च पौध की भारत में एक विनाशकारी बीमारी। यह बीमारी विषाणु से होता है और सफ़ेद मक्खी द्वारा फैलता है। उत्तर और मध्य भारत में यह बीमारी ज्यादा विनाशकारी थी परन्तु अब यह दक्षिण भारत में भी दर्ज की जाने लगी है। एक बार पर्ण कुंचन बीमारी लगने के बाद मि‍र्च के पोधे की पत्तियां मुड़ने लगती है और पौधों में फल लगना बंद हो जाते है। अगर फल बनते भी है तो विकृत होते है। बहुत छोटी अवस्था में बीमारी लगने पर पौधों का विकास रुक जाता है और एक भी फल नहीं बनते है। यह बीमारी मानसून या खरीफ...