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Diagnosis  and control  of 7 major diseases of Cucurbit crops   कद्दूवर्गीय सब्जियों की उपलब्धता साल में लगभग 8-10 महीने रहती है। इनका उपयोग सलाद (खीरा, ककड़ी); पकाकर सब्जी के रूप में (लौकी, तोरई, करेला, काशीफल, परवल, छप्पन कद्दू); मीठे फल के रूप में (तरबूज, खरबूजा); मिठाई बनाने में (पेठा, परवल, लौकी) तथा अचार बनाने में (करेला) प्रयोग किया जाता है। इन सब्जियों में कई प्रकार के रोग लगते हैं जिससे इनकी उपज पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ता है। इन फसलों में लगने वाले रोगों के लक्षण तथा उनके नियंत्रण के उपायों का उल्लेख निम्नप्रकार है- अ.   फफूंद द्वारा होने वाले मुख्य रोग 1.    मृदुरोमिल आसिता: इस रोग के लक्षण पत्ती की ऊपरी सतह पर हल्के...

प्लास्टिक लो टनल प्रौद्योगिकी से लता या बेल वाली सब्‍जीयों की बेमौसमी खेती Vegetable growers, for getting higher prices from their off-season produce, often try to send their produce to the market early in the season and also try to extend the growing season for selected vegetable crops for the purpose of obtaining marketing advantage of their off-season produce.  For example, crops like long melon, round melon, bottle gourd, bitter gourd, muskmelon summer squash etc. if grown early in spring or early summer often command a greater price on the market. Also producing crop when large quantities of the crop produce are not available (considered as “off-season”) can also command greater...

Early crop cultivation technique of cucurbit crops लता या बेल वाली सब्जियों जैसे लौकी, तोरई, कददू, तरबूज, खरबूजा, पेठा, खीरा, टिण्डा, करेला आदि की खेती मैदानी भागो में, गर्मी के मौसम में मार्च से लेकर जून तक की जाती है। इन सब्जियों की अगेती खेती जो अधिक आमदनी देती है, करने के लिए पॉली हाउस तकनीक में जाड़े के मौसम में इन सब्जियों की नसर्री तैयार करके की जा सकती है। पहले इन सब्जियों की पौध तैयार की जाती है तथा फिर मुख्य खेत में जड़ो को बिना क्षति पहुँचाये रोपण किया जाता है। इन सब्जियों की पौध तैयार करने से अनेक लाभ हैं जो इस प्रकार हैं। एक से डेढ़ माह...

Major insects and disease of cucurbit seed crop and their control in  बीज उत्‍पादन फसल में विभिन्‍न प्रकार के कीडों का आक्रमण होता है। कद्दू जातीय सब्‍जी फसलों में बीज उत्‍पादन के दौरान लगने वाले कीडों तथा उनका नियंत्रण कद्दू जातीय बीज फसलों के प्रमुख कीट कटवर्म:  यह कीट नन्‍हे या उगने वाले पौधों के बीजपत्रों या पोधें के शीर्ष को काट देते हैं जिससे खेत में पौधों की संख्‍या कम हो जाती है। इसके नियंत्रण के लिए बीजों की बुवाई के समय या पौध रोपाई के समय दो चम्‍मच कार्बोफ्यूरान प्रति थमला (यानि 1.5 किग्रा/हैक्‍टेयर) के हिसाब से मिलाना चाहिऐ। लाल भृंग:  यह चमकीले लाल रंग का कीट पौधे की पत्तियों को, विशेषकर प्रारम्भिक अवस्‍था में, खाकर...