अमरूद में अच्छे एवं गुणवत्तायुक्त फल के लिये बहार नियंत्रण

अमरूद में अच्छे एवं गुणवत्तायुक्त फल के लिये बहार नियंत्रण

Controlling blossom (Bahar) for high quality fruiting in guava

अमरूद का फल वृक्षो की बागवानी मे एक महत्वपूर्ण स्थान है। इसकी बहुउपयोगिता एवं पौष्टिकता को ध्यान मे रखते हुये लोेग इसे गरीबो का सेब कहते है। इसमे विटामिन सी प्रचुर मात्रा मे पाया जाता है। इससे जैम, जैली, नेक्टर आदि परिरक्षित पदार्थ तैयार किये जाते है।

उत्तरी व पूर्वी भारत मे वर्ष मे दो बार फलन एवं पश्चिमी व दक्षिणी भारत मे वर्ष मे तीन बार फलन आता है, जिसमे मृग बहार, अम्बे बहार एवं हस्त बहार आते है। भारत मे मृग बहार जो है वह अम्बे बहार एवं हस्त बहार से ज्यादा पसंद किये जाते है क्योंकि अन्य दोनो बहार की तुलना मे मृग बहार के फल गुणवत्ता, स्वाद एवं उपज मे सर्वोत्तम रहते है।

फलो की गुणवत्ता के हिसाब से वैसे तो हस्त बहार भी अच्छा रहता है लेकिन इससे उपज कम मिलती है। अतः मृग बहार मे अधिक फूलो/ फलो का उत्पादन, स्वाद एवं गुणवत्तायुक्त फलन प्राप्त करने के लिये वर्षा ऋतु वाली फसल अर्थात अम्बे बहार के फूलो का नियंत्रण करना जरूरी हो जाता है क्योंकि इस फसल की गुणवत्ता अच्छी नही रहती एवं बाजार मूल्य भी नही मिल पाता।

बहार का नाम फूल लगने का समय फलन का समय गुणवत्ता
मृग बहार जून-जुलाई (वर्षा ऋतु) नवंबर-जनवरी (शरद ऋतु) फल उच्च कोटि के मीठे एवं बड़े होते है। उपज अधिक व बाजार मूल्य अधिक प्राप्त होता है।
अम्बे बहार फरवरी-मार्च (बसंत ऋतु) जुलाई से सितंबर (वर्षा ऋतु) फल स्वाद मे कम मीठे एवं गुणवत्ता अच्छी नही रहती
हस्त बहार अक्टूबर-नवंबर (शरद ऋतु) फरवरी-अप्रेल (बसंत/ग्रीष्म ऋतु) फलो का स्वाद अच्छा लेकिन उपज कम मिलती है।

अम्‍बे बहार को रोकने के तरीके

अम्बे बहार के फूलो को नियंत्रित करने के लिये विभिन्न प्रकिया अपनायी जाती है जो कि निम्नलिखित है-

सिंचाई पानी को रोक करः

इस प्रकिया मे पेड़ो को गर्मी मे (फरवरी- मध्य मई) पानी नही दिया जाता जिससे पत्तियां गिर जाती है एवं पेड़ सुसुप्तावस्था मे चले जाते है। इस समयावधि मे पेड़ अपनी शाखाओ मे खाघ पदार्थ का संरंक्षण करते है। इसके बाद मध्य मई मे बगीचो की गुड़ाई करके व खाद देने के बाद सिंचाई की जाती है, जिससे 25-30 दिनो बाद मृग बहार मे अधिक मात्रा मे फूल खिलते एवं शरद ऋतु मे फल तैयार हो जाते है।

जड़ो के पास की मृदा को निकाल करः

इस विधि मे जड़ो के आस-पास की ऊपरी मृदा को अप्रेल-मई मे सावधानी पूर्वक खोदकर बाहर निकाल दिया जाता है। इससे जड़ो को सूर्यप्रकाश अधिक मात्रा मे प्राप्त होता है, जिसके परिणामस्वरूप मृदा मे नमी की कमी हो जाती है एवं पत्तियां गिरने लगती है एवं पेड़ सुसुप्तावस्था मे चले जाते है। 20-25 दिनो बाद जड़ो को मिट्टी द्वारा फिर से ढंक दिया जाता है एवं खाद देकर सिंचाई कर दिया जाता है।

पेड़ो को झुकाकरः

जिस पेड़ की शाखाएं सीधी रहती है वह बहुत कम फलन देती है अतः ऐसे पेड़ो की सीधी शाखाओ को अप्रेल-जून माह मे झुकाकर जमीन मे बांस या खूंटा गाड़कर रस्सी की सहायता से बांध दिया जाता है एवं शाखाओ की शीर्ष ऊपरी 10-12 जोड़ी पत्तियो को छोड़कर अन्य छोटी-छोटी शाखाओ, पत्तियो, फूलो व फलो को काॅट-छांटकर अलग कर दिया जाता है।

इस प्रकार झुकाने के बाद मुख्य शाखाओ मे 10-15 दिनो के अंदर सहायक छोटी शाखाएं आ जाती है एवं निष्क्रिय कलियां भी सक्रिय हो जाती है। झुकाने के 40-45 दिनो बाद अधिक मात्रा मे फूल आने लगते है व फलन अच्छी प्राप्त होती है।

फूलो को झड़ा करः

इस विधि मे ऐसे बहार जिनमे हमे फलन नही चाहिये उक्त बहार के फूलो के खिलने पर उसे झड़ाने के लिये कुछ वृ़द्धि नियामको जैसे एन.ए.ए (1000 पी.पी.एम), नेप्थिलिन एसिटामाईड (50 पी.पी.एम), 2-4-डी (50-100 पी.पी.एम) एवं यूरिया (10 प्रतिशत) आदि का छिड़काव के रूप मे प्रयोग किया जाता है।

खाद/उर्वरको का प्रयोगः

जून के महीने मे उर्वरको का प्रयोग करके आने वाले मृग बहार मे फूलो की संख्या को बढ़ाया जा सकता है।

अतः इन प्रकियाओ को अपनाकर किसान अच्छी, ज्यादा एवं गुणवत्तायुक्त फलन प्राप्त कर सकता है जिसे बेचकर वह उचित बाजार मूल्य प्राप्त कर सकता है एवं आर्थिक रूप से सुदृण हो सकता है।


Authors:

सीताराम देवंगन एवं घनश्याम दास साहू

उघानिकी विभाग, इंदिरा गांधी कृषि महाविघालय रायपुर (छ.ग.).492012

सवांदी लेखक का ईमेलः sitaramdewangan13@gmail.com

Related Posts

अमरूद: एंटीऑक्सिडेंट का समृद्ध स्रोत
Guava: Enriched Source of Antioxidants अमरुद सबसे लोकप्रिय उष्णकटिबंधीय फल हैं,...
Read more
Popular varieties of Guava
अमरूद की लोकप्रिय किस्में 1. इलाहाबाद सफेदा - फल का आकार मध्यम,...
Read more
Intensive dense gardening of Guava
अमरूद की अति सघन बागवानी अमरूद भारत का एक लोकप्रिय फल...
Read more
Guava cultivationGuava cultivation
अमरूद की खेती
Cultivation of guava    अमरूद भारत का एक लोकप्रिय फल है। क्षेत्रफल...
Read more
Mango Powdery mildew Mango Powdery mildew
Diseases of mango blossoms and their management
आम के बौर (फूल) के रोग और उनका प्रबंधन Mango production...
Read more
अमरुद की फसलअमरुद की फसल
अमरुद की फसल में बहार के समय...
Diseases, pests and their control during springtime of Guava crop. अमरूद अपनी व्यापक...
Read more
rjwhiteclubs@gmail.com
rjwhiteclubs@gmail.com